Mujhe Gussa Dikhaya Ja Raha Hai Songtext
von Jagjit Singh
Mujhe Gussa Dikhaya Ja Raha Hai Songtext
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
तबस्सुम को चबाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
वहीं तक आबरू में ज़ब्त-ए-ग़म है
वहीं तक आबरू में ज़ब्त-ए-ग़म है
जहाँ तक मुस्कुराया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
तबस्सुम को चबाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
दो आलम मैंने छोड़े जिसकी ख़ातिर
दो आलम मैंने छोड़े जिसकी ख़ातिर
वहीं दामन छुड़ाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
तबस्सुम को चबाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
क़रीब आने में है उनको तक़ल्लुफ़
क़रीब आने में है उनको तक़ल्लुफ़
वहीं से मुस्कुराया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
तबस्सुम को चबाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
तबस्सुम को चबाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
वहीं तक आबरू में ज़ब्त-ए-ग़म है
वहीं तक आबरू में ज़ब्त-ए-ग़म है
जहाँ तक मुस्कुराया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
तबस्सुम को चबाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
दो आलम मैंने छोड़े जिसकी ख़ातिर
दो आलम मैंने छोड़े जिसकी ख़ातिर
वहीं दामन छुड़ाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
तबस्सुम को चबाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
क़रीब आने में है उनको तक़ल्लुफ़
क़रीब आने में है उनको तक़ल्लुफ़
वहीं से मुस्कुराया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
तबस्सुम को चबाया जा रहा है
मुझे ग़ुस्सा दिखाया जा रहा है
Writer(s): Jagjit Singh, Sheri Bhopali Lyrics powered by www.musixmatch.com